चंदे में पारदर्शिता नहीं आ रही रास
नई दिल्ली। चुनाव आयोग द्वारा चुनावी चंदे में पारदर्शिता के मद्देनजर राजनीतिक दलों के लिए जो दिशानिर्देश जारी किए थे, उसके विरोध में राजनीतिक दल लामबंद होते नजर आ रहे हैं। कांग्रेस, राजद, जदयू व वामदल जैसे ज्यादातर राजनीतिक दलों ने कानूनी तौर पर राजनीतिक अधिकारों में हस्तक्षेप और अस्पष्ट करार देते हुए इन दिशानिर्देशों को वापस लेने की मांग उठाई है। देश में राजनीतिक दलों को चुनावी चंदा देने के मामले में मुख्य सूचना आयोग ने भी पिछले सालों में राष्ट्रीय दलों को चंदे की पारदर्शिता बनाये रखने के लिए उसे सार्वजनिक करने के आदेश दिये थे। इसके बाद से ही चुनावी चंदे को लेकर चुनाव आयोग भी दिशानिर्देश तैयार करने में जुट गया था। इसी कवायद में केंद्रीय चुनाव आयोग ने पिछले महीने ही 1 अक्टूबर को सभी राजनीतिक दलों को 'पार्टी फंड एवं चुनाव खर्च में पारदर्शिता और उत्तरदायित्वÓ नामक दिशानिर्देश लागू किए। इन दिशानिर्देशों में 20 हजार रुपए से ज्यादा का चंदा नकद रूप से लेने पर रोक लगाने की भी हिदायत थी, लेकिन इससे ज्यादा चैक के जरिए कोई राजनीतिक दल चंदा ले सकता है।
जौनपुर समाचार
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